हर कोई सफ़ेद चमकदार दांत चाहता है। पर प्राकृतिक रूप से हमारे दांतो का रंग बहुत हल्का पीला होता है। इसे पूरी तरह सफ़ेद करने की प्रक्रिया को ही Bleaching कहते हैं।
दांतों की bleaching की प्रक्रिया आजकल बहुत प्रचलन में है।
आइये जानते हैं ब्लीचिंग के बारे में सभी जानकारियां।
Table of Contents
क्या है दांतों की Bleaching?
दांतों को सफेद कराने कि प्रक्रिया को ब्लीचिंग कहा जाता है।
Bleaching में दांतों को bleaching agent की मदद से सफेद किया जाता है।
ज्यादातर bleaching उन दांतों में की जाती है जिनका रंग ब्राउनिश या पीला हो जाता है।
इसके कई कारण हो सकते हैं।
दांतों का पीलापन या कालापन बाहरी व अंदरूनी कारणों से या फिर जन्म से ही हो सकता है।
दांतों के पीले पड़ने के कारण
- खान पान : कॉफी, चाय, कोल्ड ड्रिंक, कुछ फल, आदि चीज़ों से दांत में पीलापन आ सकता है।
- सही तरीके से ब्रश ना करना
- तंबाखू या पान का सेवन करना
- कोई भी बीमारी जिसमें ज़्यादा दवाई खानी पड़े जैसे हाइपरटेंशन, Antipsychotic drugs
- Radiotherapy अथवा chemotherapy
- दांतों की फिलिंग जैसे Amalgam fillings
- Fluorosis : कुएं का पानी पीना जिसमें फ्लोराइड की मात्रा ज्यादा होती है।
- बढ़ती उम्र के साथ दांतों का पीलापन भी बढ़ता है।
- Pregnancy के दौरान यदि माता को कोई इंफेक्शन हुआ तो बच्चे के दांतों का enamel प्रभावित हो सकता है।
- कुछ माउथवॉश जैसे Chlorhexidine का प्रयोग 15 दिन से ज्यादा करने पर दांतों में पीलापन आ सकता है।
- दांतों में चोट लगना
- कुछ लोगों में प्राकृतिक भाव से enamel की मोटी परत होती है जिस वजह से उनके दांत सफेद दिखाई देते हैं।
Bleaching की प्रक्रिया:
Bleaching agent (carbamide peroxide या hydrogen peroxide) enamel में घुसकर
दांत में पीले अणुओं (discolored molecules) के पास पहुंचता है।
Bleaching Agent के molecule, discolored molecules (जो मॉलिक्यूल पीले पड़ गए हैं) पर काम कर,
उसके bonds को तोड़ देता है।
जिससे दांत सफेद दिखाई देने लगते हैं।
Bleaching के side effects
१) सेंसिटिविटी (Sensitivity) होना – कुछ समय तक दांतों में झनझनाहट महसूस हो सकती है।
२) मसूड़ों में irritation होना – कुछ मामलों में थोड़ी देर के लिए जलन भी हो सकती है।
Bleaching में कितना खर्च आता है?
Bleaching का ख़र्च लगभग 6000₹ से शुरू होते हुए 20,000₹ तक हो सकता है।
यह ख़र्च जगह और सुविधा के अनुसार बदलते हैं।
अतः हम कह सकते हैं की ब्लीचिंग एक सस्ती प्रक्रिया नहीं है।
Bleaching का असर कितने दिन तक रहता है?
यह प्रति व्यक्ति अलग-अलग रहता है।
ज़्यादातर ब्लीचिंग का असर 4 से 6 महीने तक रहता है।
Teeth Whitening और Bleaching में क्या फर्क होता है?
Teeth whitening में दांतों में जमी हुई गंदगी और stains को हटाकर natural दांत को साफ किया जाता है।
Bleaching में दांतों के रंग को सफेद किया जाता है।
सरल शब्दों में समझे तो दांतों को यदि अधिक सफ़ेद करना है तो वह ब्लीचिंग से होगा।
दोनों ही ब्लीचिंग और व्हाइटनिंग, दांतो की Scaling से अलग होती है।
क्या ब्लीचिंग करना फायदेमंद है?
Bleaching केवल आगे के बारह दांतों में की जाती है जो हंसते समय दिखाई देते हैं।
तो आपको अपनी हंसी को चमकदार बनाना है तो आप बिल्कुल ब्लीचिंग के लिए जा सकते हैं।
यदि आपके सामने के दांतों में कोई फिलिंग हुई है या फिर आपको पहले ही सेंसिटिविटी की तकलीफ़ है तो
Bleaching कराने से पूर्व अपने dentist से सलाह लें।
कुछ Tips Bleaching के बारे में
- Bleaching products के उपयोग से पहले व बाद में Desensitizing toothpaste का उयोग करें।
- इस प्रक्रिया शुरू करने से पहले अपने दांतों की स्केलिंग अवश्य करवाएं।
- प्रेग्नेंसी के दौरान teeth whitening products का प्रयोग न करें क्योंकि इससे हानि हो सकती है।
- यदि आपके दांतों में कैप, veneers या bridge लगें हैं तो tooth bleaching products का प्रयोग न करें, अन्यथा आपके दांतों का रंग अलग अलग दिखाई देगा।
- कुछ लोगों में यह पाया गया है कि जो बचपन में tetracycline का सेवन कर चुके हैं, उनको bleaching कराने में साधारण से ज्यादा समय लगता है। (कम से कम ६ महीने रोज़ाना उपयोग से)
- यदि आपको bleaching products के उपयोग से दांतों में सेंसिटिविटी की शिकायत होने लगे तो उसका उपयोग छोड़ दें और सेंसिटिविटी को खत्म हो जाने दें। इसके पश्चात आप दोबारा bleaching शुरू कर सकते हैं परंतु कम समय के लिए।
कुछ घरेलू उपाय
- बेकिंग सोडा और hydrogen peroxide : 2012 की एक स्टडी के अनुसार, बेकिंग सोडा और hydrogen peroxide के पेस्ट से ब्रश करने पर दांतों में सफेदी आती है।
- फ्रूट एंज़ाइम : pineapple और पपीते में पाये जाने वाले एंज़ाइम दांतों को चमक देते हैं।
- विटामिन सी : विटामिन सी न केवल मसूड़ों के लिए लाभकारी है अपितु दांतों की सफेदी के लिए भी उपयोगी पाई गई है।
- Whitening toothpaste : इसमें hydrogen peroxide या carbamide peroxide होता है जो कि दांतों को सफेदी देता है।
- Brushing : coffee और चाय पीने के बाद ब्रश करें ताकि उनके stains दांतों में ना जमें।
- Whitening strips/rinses : Whitening strips दिन में दो बार आधा घंटा लगाना होता है और rinses से एक मिनट तक कुल्ला करना होता है।
- Activated charcoal : यह भी उपयोगी पाया गया है परंतु इसे ज़्यादा इस्तेमाल ना करें क्योंकि इसमें abrasives होते हैं जिससे दांत घिस सकते हैं।
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